अमेरिका, वाशिंगटन: वैश्विक महामारी कोरोना को लेकर अमेरिका और चीन के बीच चल रही खींचतान के बीच तिब्बत में लोकतंत्र की बहाली के लिए अमेरिकी राष्ट्रपति से कदम उठाने की मांग की गई है।
इससे पहले भी हांगकांग में लोकतंत्र की बहाली को लेकर अमेरिका में आवाज उठ चुकी है। पेंसिल्वेनिया के एक अमेरिकी सांसद ने राष्ट्रपति जो बाइडेन से तिब्बत को स्वतंत्र देश घोषित करने का आह्वान किया गया है।
अमेरिकी संसद के प्रतिनिधि स्कॉट पेरी ने तिब्बत को अलग और स्वतंत्र देश की मान्यता देने के लिए एक विधेयक पेश किया था। प्रस्ताव में कहा गया है कि अमेरिका को चीन की कम्युनिस्ट पार्टी की दादागिरी को खत्म करने के लिए तिब्बत पर सात दशकों शेजारी अवैध कब्जे को मुक्त कराते हुए स्वतंत्र देश घोषित किया जाना चाहिए। उन्होंने जोर देकर कहा कि अमेरिका अगर ऐसा करता है तो यह न केवल भुक्तभोगी यों को राहत प्रदान करना होगा बल्कि अमेरिका की वैश्विक मानवाधिकार की छवि भी मजबूत होगी।
इस प्रस्ताव पर कूल 32 सांसदों ने अपने हस्ताक्षर किए हैं।गौरतलब है कि चीन पर कूटनीतिक दबाव बनाने के लिए पेरी ने 22 मई को हांगकांग के लोगों के पक्ष में भी इसी तरह का एक विधेयक पेश किया था। गौरतलब है कि चीन के कम्युनिस्ट पार्टी की 100 वर्ष के मौके पर राष्ट्रपति ने जिस तरह से अमेरिका का नाम लिए बगैर दखलअंदाजी पर कड़ा बयान दिया था उससे अब लगने लगा है कि दोनों देशों के बीच टकराव होना लाजमी है।