असम, गुवाहाटी : असम राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग (एएससीपीसीआर) ने कछार जिले के कई स्कूलों में बुनियादी बाल अधिकारों के उल्लंघन पर नाराजगी जताई है। आज यहां जारी एक बयान में एएससीपीसीआर ने कहा कि जिले के कई स्कूलों में उचित बुनियादी ढांचे और अध्ययन के लिए माहौल की कमी है।
आयोग ने यह टिप्पणी सदस्य अजय कुमार दत्त और तकनीकी सलाहकार दिव्यज्योति शर्मा की एक टीम के राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग के निर्देश के अनुसार स्वच्छता का निरीक्षण के बाद की। टीम ने कक्षाओं, पुस्तकालय, प्रयोगशाला और पूरे परिसर का निरीक्षण किया, जहां आयोग ने स्कूल के बुनियादी ढांचे को क्षतिग्रस्त पाया। स्कूल के बुनियादी ढांचे का नकारात्मक प्रभाव अकादमिक उपलब्धियों में बाधा साबित हो सकता है। आयोग ने स्कूल प्राधिकरण को पढ़ाई के लिए माहौल को उपयुक्त बनाने के लिए उचित निर्माणात्मक कदम सुनिश्चित करने का निर्देश दिया।
आयोग का मानना है कि स्कूल का बहुत बड़ा महत्व है और इसे उपयुक्त माहौल में स्थापित किया जाना चाहिए। आयोग ने चाय बागान प्रबंधन, बगीचे के समुदाय के नेताओं के साथ भी बैठक की और चाय बागान मजदूरों के घर का भी दौरा किया। उदारबंध आईसीडीएस परियोजना के तहत आंगनवाड़ी केंद्र का दौरा करते समय आयोग ने सरकारी सहायता से वंचित देखा, जिसमें आयोग ने जिला बाल संरक्षण अधिकारी (डीसीपीओ) को मामलों को सुलझाने और केंद्र को सरकारी सहायता की नियमित आपूर्ति सुनिश्चित करने का निर्देश दिया।
आयोग ने कछार जिले के अधिकारियों और सिलचर, लखीपुर और सोनाई की नगर पालिकाओं के साथ बैठक कर कचरा प्रबंधन, प्लास्टिक के उपयोग, नगर पालिका क्षेत्र की सफाई आदि का जायजा लिया। आयोग ने अधिकारियों को जिले को स्वच्छ बनाने के लिए स्वच्छता अभियान के साथ-साथ हितधारकों के बीच जागरूकता फैलाने का निर्देश दिया। एएससीपीसीआर ने कहा कि वह जिले के सर्वांगीण विकास के लिए जल्द ही जरूरी सिफारिश मुहैया कराएगा।