गुवाहाटी। असम के मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत विश्व शर्मा ने कहा की सरकार की ओर से अल्फा स्वाधीन के खिलाफ कोई संघर्षविराम नहीं किया गया है। हालांकि उन्होंने कहा कि सरकार संगठन के एकतरफा युद्धविराम की घोषणा को सकारात्मक रूप में देख रहा है।
लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि विद्रोही संगठन को अपनी विध्वंसक गतिविधियों को जारी रखने की अनुमति दी जाएगी। जरूरत पड़ने पर हम उनके के खिलाफ कार्रवाई करेंगे। मुख्यमंत्री ने संगठन के कमांडर-इन-चीफ परेश बरुआ से बातचीत की मेज पर आने और सरकार के साथ बातचीत शुरू करने की अपील की। संघर्षविराम की घोषणा अच्छी है।
यहां से परेश बरुआ को शांति प्रक्रिया में शामिल होने पर विचार करना चाहिए। राज्य के लोग शांति चाहते हैं हिंसा नहीं। अब उन्हें लोगों की इच्छाओं पर ध्यान देना चाहिए। गौरतलब है कि मुख्यमंत्री अपहृत ओएनजीसी कर्मचारी रितुल सैकिया के परिवार से मिलने गए हुए थे।
उन्होंने परिवार को आश्वासन दिया है कि उनकी सरकार सैकिया को जल्द से जल्द छुड़ाने के लिए हर संभव कदम उठाएगी। उल्लेखनीय है कि सैकिया का 21 अप्रैल को ओएनजीसी के दो अन्य कर्मचारियों के साथ अपहरण कर लिया था।
ओएनजीसी के दो अन्य अपहृत कर्मचारियों मोहिनी मोहन गोगोई और अलकेश सैकिया को 24 अप्रैल को मोन जिले में भारत-म्यांमार सीमा के पास एक मुठभेड़ के बाद बचाया गया था।